जम्मू-कश्मीर में कुदरत का कहर: डोडा में फटा बादल, 3 की मौत, वैष्णो देवी यात्रा रोकी, हालात गंभीर
Doda Cloudburst: जम्मू-कश्मीर में लगातार हो रही मूसलधार बारिश ने तबाही मचा दी है। मंगलवार 26 अगस्त 2025 को डोडा जिले में बादल फटने की बड़ी घटना सामने आई। इस हादसे में तीन लोगों की मौत हो गई और करीब 15 घर क्षतिग्रस्त हो गए। भूस्खलन, नदी-नालों में बाढ़ और सड़कों के बह जाने से हालात बेहद गंभीर हो गए हैं।
सबसे बड़ी बात यह है कि श्रद्धालुओं की आस्था का केंद्र माता वैष्णो देवी यात्रा को फिलहाल रोकना पड़ा है, जिससे हजारों यात्री प्रभावित हुए हैं। आइए जानते हैं डोडा में बादल फटने से जुड़े ताज़ा अपडेट्स, प्रशासनिक कार्रवाई, मौसम विभाग की चेतावनी और इस आपदा का असर-

डोडा में बादल फटने से मचा हाहाकार
डोडा जिले के चरवा और मरम्मत क्षेत्र में मंगलवार सुबह बादल फटने की सूचना मिली। अचानक भारी मात्रा में पानी और मलबा गांवों में घुस गया, जिससे कई मकान बह गए और लोग बेघर हो गए।
District wise Helpline numbers
— Divisional Commissioner Jammu (@Divcomjammu) August 26, 2025
For Emergency please contact the following numbers: https://t.co/an6QeFeZuE pic.twitter.com/SVLiiq8CiB
अब तक का नुकसान:
- 3 लोगों की मौत
- 15 से अधिक घर क्षतिग्रस्त
- 3 फुटब्रिज बह गए
- खेतों और पशुओं का नुकसान
- चिनाब नदी का जलस्तर खतरे के निशान से ऊपर
- प्रभावित इलाकों तक पहुंचने के लिए सड़क सुविधा नहीं है। राहत-बचाव दलों को 40-50 मिनट पैदल चलकर गांवों तक पहुंचना पड़ रहा है, जिससे अभियान और चुनौतीपूर्ण हो गया है।
- वैष्णो देवी यात्रा पर रोक
- भारी बारिश और भूस्खलन के खतरे को देखते हुए प्रशासन ने माता वैष्णो देवी यात्रा को अस्थायी रूप से रोक दिया है।
- हेलीकॉप्टर और ई-कार सेवा भी बंद कर दी गई है।
- कटरा से त्रिकुटा पहाड़ियों तक जाने वाले रास्ते पर सुरक्षा कारणों से श्रद्धालुओं को रोका गया है।
- हजारों यात्री कटरा, जम्मू और आसपास के इलाकों में फंसे हुए हैं।
- यह फैसला श्रद्धालुओं की सुरक्षा को देखते हुए लिया गया है, लेकिन इससे लोगों की परेशानी काफी बढ़ गई है।

मौसम विभाग की रेड वार्निंग
- भारतीय मौसम विभाग ने जम्मू-कश्मीर के लिए रेड अलर्ट जारी किया है।
- 26 अगस्त को सुबह 8:30 बजे से दोपहर 1:00 बजे तक रिकॉर्ड बारिश दर्ज की गई।
- सांबा में 136 मिमी, कठुआ में 97.5 मिमी, जम्मू में 93 मिमी, डोडा के भद्रवाह में 92 मिमी और रियासी में 84 मिमी बारिश हुई।
- अगले 40 घंटों तक मध्यम से भारी बारिश की संभावना है।
- बसंतर, तवी और चिनाब नदियों का जलस्तर चेतावनी स्तर पर है।
- लोगों को सख्त हिदायत दी गई है कि वे नदी-नालों और भूस्खलन वाले क्षेत्रों से दूर रहें।
In light of medium to heavy rainfall forecasted in Jammu Division for next 40 hrs, water levels of River Basantar, Tawi, & Chenab are currently at *Alert Level*. As precautionary measure, residents & visitors are strongly advised to stay away from riverbanks & flood prone areas pic.twitter.com/QyPQp6fN7J
— Divisional Commissioner Jammu (@Divcomjammu) August 26, 2025
मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला का बयान
मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने हालात को गंभीर बताते हुए आपात बैठक बुलाई। उन्होंने कहा- “जम्मू के कई हिस्सों में स्थिति बेहद गंभीर है। मैं व्यक्तिगत रूप से हालात की निगरानी करने के लिए श्रीनगर से जम्मू जा रहा हूं। जिला उपायुक्तों को राहत और आपात बहाली कार्यों के लिए अतिरिक्त धनराशि जारी की गई है।” उन्होंने यह भी भरोसा दिलाया कि सरकार हर संभव मदद करेगी और प्रभावित परिवारों को अकेला नहीं छोड़ा जाएगा।
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केंद्रीय मंत्री जितेंद्र सिंह का रुख
केंद्रीय मंत्री और सांसद जितेंद्र सिंह ने भी डोडा के डीसी से बात कर हालात की जानकारी ली। उन्होंने कहा – प्रशासन सतर्क है और हालात पर नज़र रखी जा रही है। उनका कहना है कि अभी राहत और बचाव कार्य प्राथमिकता है। साथ ही केंद्र सरकार भी जरूरत पड़ने पर हर संभव मदद देगी।
Heavy flooding has hit the Chenab River basin in Doda district, J&K.Its tributary, the Kalnai River, has been overflowing since this morning following intense, cloudburst-like rainfall.
— Naveen Reddy (@navin_ankampali) August 26, 2025
Bhaderwah station in Doda district recorded 100 mm of rain yesterday, with an additional 78… pic.twitter.com/UlXvs46m7y
बादल फटना क्या है और क्यों होता है?
बादल फटना एक प्राकृतिक आपदा है, जो आमतौर पर पहाड़ी इलाकों में होती है। जब वातावरण में अत्यधिक नमी और हवा का दबाव इकट्ठा हो जाता है, तब अचानक बहुत अधिक मात्रा में बारिश कम समय में छोटे क्षेत्र में होती है। इसे ही बादल फटना कहा जाता है।
यह घटना अक्सर पहाड़ों की चोटियों और घाटियों में होती है, जहाँ बादल टकराकर तेजी से फट जाते हैं। बादल फटने का सबसे बड़ा खतरा यह है कि इससे अचानक बाढ़ आ जाती है, जिससे घर, सड़कें, पुल और खेत बह जाते हैं।
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Safety Precautions:
— Divisional Commissioner Jammu (@Divcomjammu) August 26, 2025
Avoid any activity near the riverbanks, especially in low-lying or flood-prone areas.
Stay updated with local weather alerts and follow official orders/communications.
रेलवे और सड़क यातायात प्रभावित
- भूस्खलन और लगातार बारिश की वजह से जम्मू-कश्मीर में यातायात पूरी तरह प्रभावित हुआ है।
- कटरा-संगर रेलवे लाइन पर टनल नंबर 16 के पास भूस्खलन से रेल सेवाएं ठप हो गई हैं।
- जम्मू-श्रीनगर हाईवे पर भी कई जगह पत्थर गिरने और सड़क बहने से यातायात बंद है।
- डोडा-किश्तवाड़ एनएच-244 पर जंगलगवार नाले पर सड़क का हिस्सा बह गया है।
- इससे यात्रियों और स्थानीय लोगों को भारी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है।

धार्मिक स्थल भी आए बाढ़ की चपेट में
- भदरवाह के शिव मंदिर और पांडु गुफा मंदिर भी बाढ़ की चपेट में आ गए हैं।
- मंदिर के पुजारियों और श्रद्धालुओं को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया गया है।
- मंदिर को नुकसान की खबरें हैं।
- स्थानीय लोगों ने बताया कि मंदिर परिसर में पानी और मलबा भर गया है।

प्रशासन की तैयारियां और हेल्पलाइन नंबर जारी
- डोडा समेत जम्मू क्षेत्र के प्रशासन ने आपात स्थिति से निपटने के लिए हेल्पलाइन नंबर जारी किए हैं।
- लोगों को घरों से बाहर निकलते समय सावधानी बरतने को कहा गया है।
- बाढ़ संभावित इलाकों से दूर रहने की अपील की गई है।
- रेस्क्यू टीमों को प्रभावित इलाकों में तैनात किया गया है।
लोगों की परेशानियां
- लगातार बारिश और आपदा ने आम लोगों की जिंदगी मुश्किल कर दी है।
- कई परिवार बेघर हो गए हैं।
- ग्रामीण इलाकों में बिजली और पानी की सप्लाई बाधित है।
- खेत और फसलें बर्बाद हो गई हैं।
- लोग सुरक्षित स्थानों पर शरण ले रहे हैं।
- स्थानीय लोग प्रशासन से राहत सामग्री और पुनर्वास की मांग कर रहे हैं।
विशेषज्ञों की राय
मौसम विशेषज्ञों का मानना है कि क्लाइमेट चेंज की वजह से बादल फटने की घटनाएं तेजी से बढ़ रही हैं।
जंगलों की कटाई, अवैज्ञानिक निर्माण और अनियोजित विकास भी आपदाओं को बढ़ावा दे रहे हैं।
भविष्य में ऐसी घटनाओं को रोकने के लिए वैज्ञानिक तकनीक और शुरुआती चेतावनी सिस्टम को मजबूत करना जरूरी है।